Thursday 15 December 2016

कविता अरमान आनंद

सच समय के उस पार
राम ने मार दिया रावण को
और
कृष्ण ने कंस को

सच से बिलकुल दूर
हम रटते और दुहराते रहे
नायकों के इंतज़ार का सूनापन

मन्त्रों और मनगढंत उम्मीदों के बीच
पुष्ट करते रहे
अपनी भीतर के राक्षस का सीना

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