मेरे जीवन का पहला गीत
जो मैने तेरे साथ गाया था
मेरे प्यार की तरह अधूरा है
मेरा बचपन तेरे स्कूल के पुराने बस्ते में कहीं पड़ा है
और मेरे पास रह गया है
तेरा आखिरी चुम्बन उधार की तरह
दिन की रौशनी दुनिया अधूरी दिखाती है
रात के अंधेरे में तुम उभर आती हो जेहन में
सुकून क़ी तलाश में
मैंने ना जाने कितनी छातियाँ टटोल डाली
प्यार की तलाश में कितने दिलों के गुलल्क तोड़ डाले
तेरी खुशबू पा सकूं सो कितने जूड़े खॊल डाले
कहाँ मिली तुम
नहीं मिली
क्यों नहीं लौट आते तुम मेरी पहली मुहब्बत
तेरे बिना दिल जंगल होता जा रहा है।...
अरमान आनंद
जो मैने तेरे साथ गाया था
मेरे प्यार की तरह अधूरा है
मेरा बचपन तेरे स्कूल के पुराने बस्ते में कहीं पड़ा है
और मेरे पास रह गया है
तेरा आखिरी चुम्बन उधार की तरह
दिन की रौशनी दुनिया अधूरी दिखाती है
रात के अंधेरे में तुम उभर आती हो जेहन में
सुकून क़ी तलाश में
मैंने ना जाने कितनी छातियाँ टटोल डाली
प्यार की तलाश में कितने दिलों के गुलल्क तोड़ डाले
तेरी खुशबू पा सकूं सो कितने जूड़े खॊल डाले
कहाँ मिली तुम
नहीं मिली
क्यों नहीं लौट आते तुम मेरी पहली मुहब्बत
तेरे बिना दिल जंगल होता जा रहा है।...
अरमान आनंद
No comments:
Post a Comment